- एनडीएमए ने लगातार दूसरे दिन की समीक्षा, रेस्क्यू की जानकारी ली
- रेस्क्यू में आ रही चुनौतियों के बारे में भी पूछा
- एनडीएमए के स्तर पर हरसंभव मदद का दिया आश्वासन
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण, गृह मंत्रालय भारत सरकार के विभागाध्यक्ष एवं सदस्य सचिव श्री राजेंद्र सिंह ने लगातार दूसरे दिन शुक्रवार को धराली तथा आसपास के क्षेत्रों में संचालित राहत और बचाव कार्यों की समीक्षा की। इस दौरान उन्होंने धराली में ग्राउंड जीरो में संचालित रेस्क्यू अभियान की जानकारी ली तथा सड़क, संचार एवं विद्युत आपूर्ति को बहाल किए जाने की दिशा में राज्य सरकार के स्तर पर किए जा रहे प्रयासों के बारे में पूछा। उन्होंने कहा कि राहत और बचाव कार्यों में एनडीएमए तथा भारत सरकार के स्तर से जो भी सहयोग की आवश्यकता राज्य को होगी, वह सर्वाेच्च प्राथमिकता पर उपलब्ध कराई जाएगी। इस दौरान उन्होंने रेस्क्यू अभियान में आ रही चुनौतियों के बारे में भी जानकारी ली तथा केंद्रीय स्तर पर विभिन्न एजेंसियों के अधिकारियों को आपसी समन्वय बनाते हुए त्वरित गति से राहत और बचाव कार्य संचालित करने के निर्देश दिए।
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के विभागाध्यक्ष एवं सदस्य सचिव श्री राजेंद्र सिंह ने कहा कि जल्द ही एक विशेषज्ञ दल इस आपदा के अध्ययन के लिए उत्तराखंड भेजा जाएगा। उन्होंने कहा कि एक विशेषज्ञ दल को एनडीएमए द्वारा विगत माह हिमाचल प्रदेश में आई आपदा के अध्ययन के लिए भेजा गया था। उस रिपोर्ट के आधार पर भी यह पता चल सकेगा कि उत्तराखंड और हिमाचल में ऐसी घटनाएं क्यों घटित हो रही हैं। यह टीम पीडीएनए होने तथा अंतर मंत्रालय विशेषज्ञ दल के दौरे के तुरंत बाद भेजी जाएगी।
वित्त आयोग से खास प्रावधानों की सिफारिश की जाएगी
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के विभागाध्यक्ष एवं सदस्य सचिव श्री राजेंद्र सिंह ने कहा कि एनडीएमए आपदा की इस घड़ी में उत्तराखंड के साथ पूरी मजबूती से खड़ा है। उन्होंने कहा कि एनडीएमए अपने स्तर पर वित्त आयोग से उत्तराखंड के लिए विशेष प्रावधानों की सिफारिश करेगा ताकि पुनर्निर्माण कार्यों में धन की कोई कमी ना रहे।
हरिद्वार, ऊधमसिंहनगर और औली में लगेंगे डॉपलर राडार
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के विभागाध्यक्ष एवं सदस्य सचिव श्री राजेंद्र सिंह ने बताया कि हरिद्वार, ऊधमसिंह नगर और औली में जल्द ही एक-एक डॉप्लर राडार स्थापित किए जाएंगे। इससे मौसम के पूर्वानुमान में बड़ी मदद मिलेगी। उन्होंने मौसम विज्ञान विभाग को इस संबंध में उत्तराखंड के लिए प्राथमिकता तय करते हुए इन्हें जल्द स्थापित करने को कहा। इसके साथ ही मिशन मौसम के अंतर्गत राज्य के अन्य महत्वपूर्ण स्थानों में भी डॉप्लर राडार लगाए जाने का आश्वासन दिया।